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CDS जनरल बिपिन रावत ने कहा, 'हम चीन-पाकिस्तान से एक साथ निपटने के लिए तैयार 

Atit

नई दिल्‍ली 04 Sep, 2020 08:49 am

चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत ने कहा कि भारत एक साथ टू-फ्रंट वॉर के लिए तैयार है. भारत-अमेरिका सामरिक साझेदारी के मंच के इंटरएक्टिव सेशन में जनरल रावत ने कहा कि, हाल के कुछ महीनों में हमने चीन की ओर से आक्रामक गतिविधियां देखी हैं. लेकिन, हम चीन से मिल रही चुनौती से निपटने में पूरी तरह सक्षम हैं.

जनरल रावत ने कहा कि हम चीन के साथ कूटनीतिक संवाद, बराबरी के सैन्य स्तर पर भी करते हैं. ऐसा न होने की सूरत में ये संकेत जाएगा कि हमने इस क्षेत्र में चीन के प्रभुत्व को स्वीकार कर लिया है. जोकि सच नहीं है.

इस सेशन में सीडीएस ने पाकिस्तान को भी कड़ा संदेश दिया. जनरल रावत ने कहा कि पाकिस्तान, लंबे समय से हमारे ख़िलाफ़ आतंकवाद को बढ़ावा देता आ रहा है. लेकिन, अगर वो मौजूदा हालात का फ़ायदा उठाने का जोखिम उठाएगा, तो उसे ये क़दम बहुत महंगा पड़ने वाला है.

पिछले कुछ दिनों में चीन के साथ वास्तविक नियंत्रण रेखा पर ज़बरदस्त तनाव है. चीन के साथ लगती सीमा पर तैयारियों का जायज़ा लेने के लिए आर्मी चीफ़ जनरल एम एम नरवणे इस समय लद्दाख के दौरे पर हैं. 29-30 की रात को चीन ने भारत की सीमा में दाख़िल होने की कोशिश की थी. मगर भारत के सैनिकों ने इस चाल को नाकाम कर दिया था. चीन की हरकतों को देखते हुए, भारत ने अपनी सीमा में पड़ने वाली चोटियों पर और सैनिक तैनात कर दिए थे.

इस क़दम से बौखलाए चीन ने भारत को धमकाने की कोशिश की है. चीन के सरकारी मीडिया ग्लोबल टाइम्स ने लिखा है कि सीमा पर भारत की गतिविधियों को देख कर ऐसा लगता है कि उसने चीन की ताक़त को बहुत कम करके आंकने की कोशिश की है. उसे ये कोशिश बहुत महंगी पड़ने वाली है.

वास्तविक नियंत्रण रेखा पर इस समय ज़बरदस्त तनाव बना हुआ है. भारत और चीन के सैनिक, LAC पर कई जगह आमने-सामने बस थोड़ी ही दूरी पर तैनात हैं. तनाव कम करने के लिए भारत और चीन के बीच ब्रिगेडियर स्तर पर चार राउंड की बैठकें हो चुकी हैं. लेकिन, अब तक दोनों देशों के बीच किसी भी मसले पर सहमति नहीं बन सकी है.

तनाव की इस स्थिति के बीच, भारतीय सेना ने चीन के साथ लगने वाली सीमा पर लद्दाख से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक चौकसी बढ़ा दी है. और सैनिकों को सर्दियों के दौरान भी तैनाती के लिए तैयार रहने को कहा है.

इस बीच चीन ने भारत द्वारा चीन के ऐप्स पर प्रतिबंध लगाने के क़दम की भी आलोचना की है.

ग्लोबल टाइम्स में लिखा गया है कि भारत ने चीन के ऐप्स पर प्रतिबंध लगाकर, अपने लिए नुक़सानदेह क़दम ही उठाया है. इससे भारत को भारी क्षति उठानी पड़ सकती है.

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