10 फरवरी को चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग वुहान के अस्पताल में कार्यरत कर्मचारियों को संबोधित कर रहे थे ठीक उसी समय चीन के अधिकारी पूरी दुनिया को कोरोना वायरस से संक्रमित होने और उससे मौत होने वालों की गलत जानकारी पेश कर रहे थे. चीन के अधिकारी ने कहा था कि 2478 नये मामले आए हैं. अब उसी दिन का एक इंटरनल डॉक्यूमेंट सामने आया है जिसमें बताया गया है कि 10 फरवरी को कोरोना संक्रमित लोगों की कुल संख्या 5,918 थी.
हुबेई प्रांतीय सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन से लीक 117 पृष्ठों के दस्तावेज में इस बात का खुलासा हुआ है. सीएनएन ने इस दस्तावेज की जांच की है और शेयर किया है. महामारी की शुरूआत के बाद से इससे जुड़ी जानकारी को लेकर यह अभी तक का सबसे बड़ा खुलासा बताया जा रहा है.
कोरोना वायरस को इस संसार में आए पूरे एक साल हो गए. 1 दिसंबर 2019 को वुहान की प्रांतीय राजधानी हुबेई में पहले ज्ञात रोगी में कोरोना वायरस के लक्षण दिखाई दिए थे. लैंसेट मेडिकल जर्नल में प्रकाशित एक अध्ययन के इस बात का दावा किया गया है. अध्ययन में यह भी दावा किया गया है कि उसी दौरान वुहान में एक और स्वास्थ्य संकट सामने आया था. हुबेई एक महत्वपूर्ण इन्फ्लूएंजा के प्रकोप से निपट रहा था. इन्फ्लूएंजा "महामारी", जैसा कि अधिकारियों ने दस्तावेज में उल्लेख किया है, न केवल दिसंबर में वुहान में मौजूद था, बल्कि पड़ोसी शहरों यिचांग और जियानिंग भी इसकी गिरफ्त में आ चुका था. हालांकि यह स्पष्ट नहीं है कि Covid-19 के प्रकोप पर इन्फ्लूएंजा स्पाइक का क्या प्रभाव या उससे इसका क्या कनेक्शन था. जो दस्तावेज अध्ययन के दौरान प्राप्त हुए उस दस्तावेज में कोई सुझाव नहीं है कि ये दो समानांतर संकट जुड़े हुए थे या नहीं. वैसे हुबेई के इन्फ्लूएंजा स्पाइक की भयावहता के बारे में जानकारी अभी भी सार्वजनिक नहीं की गई है.
जो दस्तावेज लीक हुए है उससे मिली जानकारी ने चीन के ऊपर और दवाब बना दिया है. लीक दस्तावेज ने विश्व के हर कोने में फैले कोरोना वायरस की उत्पति को लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन की जांच में सहयोग करने के लिए चीन पर अमेरिका और यूरोपीय संघ का दवाब अब और बढा दिया है. इस वायरस से अभी तक 6 करोड़ से ज्यादा लोग प्रभावित हुए हैं और 14.6 लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो गई है. इतना सब होने के बाद भी अंतरराष्ट्रीय विशेषज्ञों के लिए अस्पताल के डेटा तक पहुंच सीमित ही है. वैसे डब्ल्यू एच ओ ने पिछले सप्ताह जानकारी दी थी कि उसे चीन की सरकार से जांच में सहयोग करने और वुहान के अस्पतालों का दौरा करने में सहयोग का आश्वासन मिला है.
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