×

PM मोदी ने कहा, 'चीन पर भरोसा न करे दुनिया, विश्व व्यापार के लिए ज़रूरी है विश्वास'

Atit

नई दिल्‍ली 04 Sep, 2020 12:48 am

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इशारों-इशारों में चीन पर बड़ा हमला बोला है. अमेरिका-भारत स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप फ़ोरम (USISPF) की बैठक में पीएम मोदी ने कहा कि वैश्विक आपूर्ति श्रृंखलाओं को भरोसे की बुनियाद पर स्थापित किया जाना चाहिए. क्योंकि कोरोना के काल में सिर्फ़ लागत पर आधारित ग्लोबल सप्लाई चेन टूटती दिखी.

प्रधानमंत्री मोदी ने इस मंच से भाषण के ज़रिए भारत को दुनिया के सामने चीन के विकल्प के तौर पर पेश करते हुए ये बात कही. कोरोना वायरस के प्रकोप के दौरान, दुनिया ने देखा है कि दुनिया की आपूर्ति श्रृंखलाएं चीन पर कुछ ज़्यादा ही निर्भर हैं. इसी कारण से जब महामारी फैली, और चीन उसमें उलझा तो बाक़ी देशों के लिए मुश्किल खड़ी हो गई. और महामारी के बाद चीन के आक्रामक रुख़ के कारण कई देश चीन पर निर्भरता कम करना चाह रहे हैं. 

इसीलिए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत ने अपने यहां कारोबार को आसान बनाने के लिए टैक्स रियायतों और नियमों में सुधार के कई क़दम उठाए हैं. जिससे कि भारत में निवेश करना आसान हुआ है.

प्रधानमंत्री ने भारत-अमेरिका स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप फ़ोरम में अपने भाषण से दुनिया को संदेश दिया कि भारत का आत्मनिर्भर भारत अभियान, दुनिया की आपूर्ति श्रृंखलाओं को बेहतर बनाने का काम करेगा. और वैश्विक बाज़ारों को भी मज़बूत बनाएगा.

अपने भाषण में प्रधानमंत्री मोदी ने कोरोना वायरस की महामारी से निपटने के भारत के प्रयासों के बारे में भी बताया. 

उन्होंने कहा कि भारत ने इस महामारी से निपटने में शुरुआत में ही मज़बूत क़दम उठाए. इसलिए इतनी अधिक आबादी होने के बावजूद भारत में कोरोना के चलते उतनी जनहानि नहीं हुई, जिसकी तमाम विशेषज्ञों ने आशंका जताई थी.

पीएम मोदी ने कहा कि ताज़ा हालात में हमें नई सोच के साथ काम करना होगा. हमारी नीतियां मानवीयता पर आधारित होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि जब वर्ष 2020 की शुरुआत हुई थी, तब किसी ने कल्पना भी नहीं की थी कि ये साल ऐसा होने वाला है. कोविड-19 की महामारी ने पूरी दुनिया को प्रभावित किया है. ये हमारी क्षमताओं और इच्छाशक्ति का इम्तिहान ले रही है. हमारी स्वास्थ्य सेवाओं और आर्थिक व्यवस्था की परीक्षा ले रही है.

पीएम मोदी ने कहा कि एक अरब तीस करोड़ से ज़्यादा आबादी वाले देश भारत के पास संसाधन कम थे फिर भी भारत में इस महामारी से मृत्यु दर सबसे कम रही.

महामारी से निपटने के साथ-साथ भारतीय जनता ने आत्मनिर्भर भारत का अभियान शुरू किया है. हमारा ये मिशन विश्व की आकांक्षाओं और अपेक्षाओं के साथ मेल खाने वाला है. इसके ज़रिए भारत की शक्ति, विश्व की ताक़त बनेगी.

TOP NEWS OF THE DAY: दिनभर की बड़ी खबरें सिर्फ 5 मिनट में

  • \
Leave Your Comment