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अब तक नहीं आई SSC CHSL 2018 परीक्षा के टाइपिंग टेस्ट की तारीख, छात्र बोले- चुनाव 3 दिन में संपन्न हो सकते हैं तो परीक्षा क्यों नहीं?

Archit Gupta

नई दिल्ली 26 Sep, 2020 12:18 pm

स्टाफा सेलेक्शन कमीशन यानी SSC अब तक CHSL 2018 परीक्षा के टाइपिंग टेस्ट की तारीख नहीं जारी कर पाया है. SSC CHSL 2018 टियर 2 की परीक्षा को हुए 1 साल हो गए और अब तक टाइपिंग टेस्ट का अता पता नहीं है. टियर 2 की परीक्षा का आयोजन 29 सितंबर 2019 को किया गया था, जिसका रिजल्ट 25 फरवरी 2020 को आया था. SSC CHSL की परीक्षा के टाइपिंट टेस्ट की तारीख जारी करवाने के लिए आज छात्रों ने ट्विटर पर कैंपेन चलाया. छात्र हैशटैग #chsl2018_typing_date के साथ ट्वीट कर रहे हैं. उम्मीदवारों का कहना है कि आयोग कोरोना का बहाना देकर कब तक परीक्षाओं को टालता रहेगा? IBPS समेत कई आयोग कोरोना में एग्जाम करा रहे हैं तो क्या कोरोना सिर्फ एसएससी के लिए ही है? उम्मीदवारों का सबसे बड़ा सवाल यह है कि जब कोरोना में चुनाव हो सकते हैं तो सरकारी भर्ती के एग्जाम क्यों नहीं?

इस भर्ती की उम्मीदवार नीलू कुमारी ट्वीट कर लिखती हैं, ''हम सीएचएसएल परीक्षा के टाइपिंग टेस्ट की तारीख चाहते हैं, टियर 2 एग्जाम को हुए 1 साल हो गए हैं. हम और इंतजार नहीं कर सकते. एसएससी प्रक्रिया में देरी न करें, व्यवस्थाओं में तेजी लाएं.''

कुंदन शर्मा नाम के एक उम्मीदवार ट्वीट कर लिखते हैं, ''बिहार चुनाव 3 दिन में संपन्न और अगले 3 दिन में परिणाम और CHSL 18 के टियर 2 को हुए पूरे एक साल हो गये अभी तक टियर3 (स्किल टेस्ट) का कोई ठिकाना नहीं, ऐसा क्यों?''

विवेक कुमार नाम के एक उम्मीदवार ट्वीट कर लिखते हैं, ''चुनाव में बिहार के 12 करोड़ जनता के लिए कोरोना नहीं है पर CHSL 18 के मात्र 36 हजार छात्रों के टियर 3 (टाइपिंग) कराने के लिए कोरोना है.''

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SSC CHSL 2018 का UFM विवाद
SSC CHSL 2018 परीक्षा का नोटिफिकेशन 5 मार्च 2019 को जारी हुआ था. इस भर्ती के जरिए 5918 पदों को भरा जाना है. इसका टियर 1 का एग्जाम 1 से 26 जुलाई को हुआ, फिर टियर 2 का एग्जाम 29 सितंबर को हुआ और इसका रिजल्ट 25 फरवरी 2020 को जारी हुआ. टियर 2 का रिजल्ट आते ही विवाद शुरू हो गया. दरअसल, टियर 2 परीक्षा में 4559 उम्मीदवारों को UFM के तहत अयोग्य करार दिया गया. छात्रों का कहना था कि एसएससी ने बिना किसी नोटिस के परीक्षा में डायरेक्ट Real या Imaginery रूल को जोड़ दिया, साथ ही कई उम्मीदवारों को छोटी और छुटकी जैसे शब्दों पर भी UFM दे दिया गया. छात्रों के विरोध के बाद एसएससी ने जांच के लिए एक कमिटी बनाई जिसके निर्णय के बाद सभी उम्मीदवारों को 1 बार के लिए UFM से छुटकारा दिया गया और उम्मीदवारों का रिवाइज्ड रिजल्ट जारी किया गया.

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