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अब तक पूरी नहीं हुई योगी सरकार की UPSSSC द्वारा निकाली गई पहली भर्ती, बेरोजगार भटक रहे चयनित युवा

Archit Gupta

लखनऊ 03 Oct, 2020 02:15 pm

उत्तर प्रदेश को आत्मनिर्भर बनाने और सवा करोड़ लोगों को रोजगार की सौगात देने वाली योगी सरकार अपने शासनकाल में UPSSSC यानी उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग द्वारा निकाली गई पहली भर्ती पूरी नहीं कर सकी है. सम्मिलित व्यायाम प्रशिक्षक एवं क्षेत्रीय युवा कल्याण एवं प्रादेशिक विकास दल अधिकारी की भर्ती अब तक पूरी नहीं हुई है. योगी जी के सत्ता में आने के बाद UPSSSC द्वारा यह पहली भर्ती आयोग के पुनर्गठन के  बाद निकाली गई थी. मार्च 2018 में व्यायाम प्रशिक्षक के 42 और क्षेत्रीय युवा कल्याण एवं प्रादेशिक विकास दल अधिकारी के 652 पदों को भरने के लिए विज्ञापन जारी होता है. भर्ती कुल 694 पदों पर की जानी होती है. भर्ती के लिए 13 मार्च 2018 से 23 अप्रैल 2018 तक आवेदन की प्रक्रिया चलती है.  

इसके बाद पहले चरण की परीक्षा 16 सितंबर को होती है.  इस बीच आयोग व्यायाम प्रशिक्षक के पदों को बढ़ाकर 48 और क्षेत्रीय युवा कल्याण एवं प्रादेशिक विकास दल अधिकारी के पदों को बढ़ाकर 680 कर देता है. अब भर्ती कुल 728 पदों पर होनी होती है. लिखित परीक्षा का रिजल्ट 25 फरवरी 2019 को जारी होता है. लिखित परीक्षा में जो उम्मीदवार पास होते हैं उन्हें दूसरे स्टेज में फिजिकल के लिए 21 अक्टूबर 2019 से 25 अक्टूबर 2019 के बीच लखनऊ के गुरु गोबिंद सिंह स्पोर्ट्स कॉलेज में बुलाया जाता है. 

इसके बाद 728 पदों की भर्ती के लिए फाइनल रिजल्ट 24 फरवरी 2020 को जारी होता है. जब रिजल्ट आता है तो पता चलता है कि 274 उम्मीदवार सफल, 159 उम्मीदवार असफल और 247 उम्मीदवार अनुपस्थित पाए गए. अब सफल हुए इन 274 उम्मीदवारों का डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन रह गया है. डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन कब होगा इसको लेकर आयोग की ओर से कोई जानकारी सामने नहीं आई है, ऐसे में इन उम्मीदवारों की नियुक्ति प्रक्रिया अटकी हुई है. 

उम्मीदवारों का कहना है कि फरवरी 2020 से कोई प्रक्रिया आगे नही बढ़ी. न ही चयनित अभ्यर्थियों का DV हुआ न बचे हुए पदों की पूरक सूची आयी फिजिकल के लिए. पूरी गलती आयोग की है शारीरिक परीक्षा में हर सीट पर केवल एक लड़के को बुलाना आयोग की सबसे बड़ी गलती है. 

इस भर्ती की उम्मीदवार शैफाली शर्मा कहती हैं, ''योग्यता के आंकलन के लिए अब हम चयनित बेरोजगारों को कौन सी परीक्षा देनी होगी जिससे सरकार हमारी नियुक्ति करा दे. इस इंतजार ने हम सभी को मानसिक रूप से क्षीण कर दिया है. मुख्यमंत्री जी के आदेश के बाद भी हमारी भर्ती आयोग द्वारा पूरी नहीं की जा सकी है, जबकि 3 वर्ष होने को हैं. UPSC की सिविल सर्विसेज की परीक्षा भी प्री, मेन और इंटरव्यू की प्रक्रिया के बाद लगभग एक वर्ष में पूरी हो जाती है.''

इस भर्ती की उम्मीदवार रोशनी कहती हैं, ''3 वर्ष बीत गए, लिखित एवं शारिरिक परीक्षा के संहर्ष का अनुमान शायद आप लगा लें, परन्तु उसके उपरांत यह जो कोई कार्यवाही आगे न बढ़ाकर, जो मानसिक संहर्ष हम सह रहे है, इसका अनुमान आप नहीं लगा सकते. सरकार हमें जल्द से जल्द नियुक्ति दे.''

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इस भर्ती के उम्मीदवार राहुल पाठक कहते हैं, ''अंतहीन इंतजार का नाम है "युवा कल्याण अधिकारी भर्ती ", अथक प्रतिश्रम करके परीक्षा पास की, लेकिन आयोग की सुस्ती निराशाजनक है.''

उम्मीदवारों की मांग है कि जिनका सेलेक्शन हो गया है उनका डीवी करवा कर आयोग उन्हें जल्द से जल्द नियुक्ति प्रदान करें..

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