मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) ने सोमवार को कहा कि वो कोरोना वायरस के खिलाफ वैक्सीन नहीं लगवाएंगे. सीएम ने इसके पीछे वजह यह बताई कि पहले उन लोगों को वैक्सीन मिलनी चाहिए जिनके लिए प्राथमिकता तय की गई है.
शिवराज सिंह चौहान के मुताबिक, "मैंने फैसला किया है कि मैं अभी वैक्सीन नहीं लगवाऊंगा. पहले वैक्सीन दूसरों को लगाए जाने की जरूरत है. मेरी बारी बाद में आएगी. हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि पहले प्रायॉरिटी ग्रुप को वैक्सीन लगाई जाए."
आपको बता दें कि वरिष्ठ बीजेपी नेता का बयान तब आया है जब ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) के निेदेशक वीजी सोमानी ने सीरम इंस्टीट्यूट की वैक्सीन कोविशील्ड और भारत बायोटेक की वैक्सीन कोवैक्सीन को आपातकाल इस्तेमाल की अंतिम मंजूरी दे दी है.
कोरोना वैक्सीन के आपातकालीन इस्तेमाल की मंजूरी मिलने के बाद कांग्रेस नेता आनंद शर्मा, शशि थरूर और जयराम रमेश ने सवाल उठाया है. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर ने ट्वीट कर कहा कि स्वदेशी वैक्सीन कोवैक्सीन को इस्तेमाल की मंजूरी देना खतरनाक हो सकता है.
शशि थरूर (Shashi Tharoor) ने अपने ट्वीट में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर हर्षवर्धन को टैग किया और कहा कि कोरोना वैक्सीन पर कृपया स्पष्टीकरण दें. उन्होंने लिखा, "कोवैक्सीन का अभी तक चरण तीसरे चरण का परीक्षण नहीं हुआ है. समय से पहले मंजूरी देना खतरनाक हो सकता है. डॉ. हर्षवर्धन, आपको इसको स्पष्ट करना चाहिए. परीक्षण पूरा होने होने तक इसके उपयोग से बचा जाना चाहिए. भारत में इस बीच एस्ट्राजेनेका वैक्सीन का इस्तेमाल किया जा सकता है."
The Covaxin has not yet had Phase 3 trials. Approval was premature and could be dangerous. @drharshvardhan should please clarify. Its use should be avoided till full trials are over. India can start with the AstraZeneca vaccine in the meantime. https://t.co/H7Gis9UTQb
— Shashi Tharoor (@ShashiTharoor) January 3, 2021
इसके बाद केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी और बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि कांग्रेस नीत विपक्ष क्रोध, तिरस्कार और उपहास से भरा हुआ है.
हरदीप सिंह पुरी ने ट्वीट कर कहा, "जयराम, थरूर और अखिलेश इस बात से दुखी हैं कि डीसीजीआई से जिन दो वैक्सीन को मंजूरी मिली है वह भारत में बनी है, ये सभी क्या चाहते हैं और क्या कहते हैं, इन्हें कुछ भी पता नहीं है. ये सब भारत में बनी वैक्सीन से निराश हो गए हैं, ये कभी हमारे सेना के शौर्य पर भी सवाल उठाते हैं तो कभी वैज्ञानिकों के काम पर, दरअसल ये सभी राजनितिक हाशिए पर हैं और इसी वजह से ये सभी इस तरह की बातें कर रहे हैं."
Our in-house cynics M/s Jairam, Tharoor & Akhilesh are behaving true to form.
— Hardeep Singh Puri (@HardeepSPuri) January 3, 2021
They first questioned the valour of our soldiers & are now unhappy that the two vaccines to get DCGI nod are made in India.
Clearly they are on a quest for permanent political marginalization.
पुरी पर पलटवार करते हुए शशि थरूर ने एक और ट्वीट किया और कहा कि उन्होंने कभी सैनिकों की बहादुरी पर सवाल नहीं उठाया. उन्होंने कहा, "अगर भारत की ज्यादा वैक्सीनों को मंजूरी मिेलेगी तो मुझे बहुत खुशी और गर्व महसूस होगा, लेकिन तभी जब तीन चरणों का ट्रायल यह पुष्टि करे कि पूरी तरह से सुरक्षित और प्रभावी हैं. प्रकिया को छोटा करना अजीब, अनुचित और जीवन को संकट में डालने वाला है.
. First: I have never questioned the valour of our soldiers. Second: I would be happy and proud if more Indian vaccines are approved — but only after a full 3-phase trial confirms they are safe & effective. Short-circuiting the process is unprecedented, inadvisable &risks lives.
— Shashi Tharoor (@ShashiTharoor) January 3, 2021
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