विश्व खाद्य कार्यक्रम (World Food Programme) ने साल 2020 का नोबेल शांति पुरस्कार (Nobel Peace Prize) जीत लिया है. संयुक्त राष्ट्र संघ की एजेंसी वर्ल्ड फूड प्रोग्राम (WFP) को दुनिया भर में भुखमरी दूर करने और खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के उसके प्रयासों के चलते उसे नोबेल के शांति पुरस्कार के लिए चुना गया. आपको बता दें कि विश्व खाद्य कार्यक्रम दुनिया का सबसे बड़ा मानवीय संगठन है जो भूख के खिलाफ जंग लड़ता है और खाद्य सुरक्षा को बढ़ावा देता है. 2019 में WFP ने 88 देशों में करीब 100 मिलियन लोगों को सहायता प्रदान की थी.
नोबेल समिति की अध्यक्ष बेरिट रेइस एंडरसन ने ओसलो में नोबेल शांति पुरस्कार के विजेता की घोषणा की.
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— The Nobel Prize (@NobelPrize) October 9, 2020
The Norwegian Nobel Committee has decided to award the 2020 Nobel Peace Prize to the World Food Programme (WFP).#NobelPrize #NobelPeacePrize pic.twitter.com/fjnKfXjE3E
विजेता के नाम की घोषण करते हुए नोबेल कमेटी ने कहा कि कोराना महामारी के कारण दुनिया के करोड़ों लोगों के लिए भुखमरी का संकट और अधिक गहरा गया है. ऐसे में सरकारों को सुनिश्चित करना चाहिए कि वे WFP और अन्य संगठनों को आर्थिक रूप से मदद करें ताकि वे जरूरतमंदों को खाना खिला सकें.
आपको बता दें कि इस बार नोबेल शांति पुरस्कार के लिए उम्मीदवारों की कोई कमी नहीं थी. इस बार 211 लोगों और 107 संस्थाओं को इस पुरस्कार के लिए नॉमिनेट किया गया था, लेकिन अंत में विश्व खाद्य संगठन इसे जीतने में कामयाब रहा.
दुनिया के सबसे प्रतिष्ठित नोबेल पुरस्कार के तहत गोल्ड मेडल और प्राइज मनी के तौर पर 10 मिलियन स्वीडिश क्रॉनर यानी कि 1,118,000 से ज्यादा अमेरिकी डॉलर प्रदान किए जाते हैं. विजेता को यह पुरस्कार 10 दिसंबर को नॉर्वे के ओस्लो में दिया जाएगा. कोरोना वायरस की वजह से इस बार समारोह बहुत बड़ा नहीं होगा. आपको बता दें कि यह पुरस्कार स्वीडन के अन्वेषक अल्फ्रेड नोबल की याद में दिया जाता है. उन्होंने ही 124 साल पहले एक फंड का निर्माण किया था. इसी फंड से दुनिया भर की अहम खोजों के लिए हर साल यह पुरस्कार दिया जाता है.
आपको बत दें कि नोबेल कमेटी हर साल 6 अगल-अलक कैटगरी में विजेताओं की घोषणा करती है, जिनमें फिजिक्स, केमिस्ट्री, साहित्य, शांति, मडिसन और अर्थव्यवस्था प्रमुख हैं. इस बार 12 अक्टूबर तक इन क्षेत्रों के विेजेताओ की घोषणा कर दी जाएगी.
विश्व खाद्य कार्यक्रम क्या है?
विश्व खाद्य कार्यक्रम भुखमरी मिटाने और खाद्य सुरक्षा पर केन्द्रित संयुक्त राष्ट्र एजेंसी है. विश्व भर में आपातस्थितियों में इसका काम यह देखना है कि जरूरतमंदों तक खाद्य सामग्री पहुंचे. विशेषकर गृह युद्ध और प्राकृतिक आपदाओं में. भारत में विश्व खाद्य कार्यक्रम अब सीधे खाद्य सहायता प्रदान करने के बजाय भारत सरकार को तकनीकी सहायता और क्षमता निर्माण सेवाएं प्रदान करता है. विश्व खाद्य कार्यक्रम अब इस बात पर ध्यान दे रहा है कि देश के भोजन आधारित सामाजिक सुरक्षा कवच को इतना सक्षम कर दिया जाए कि वह लक्षित जनसंख्या तक भोजन को अधिक कुशलता और असरदार ढंग से पहुंचा सके.
विश्व खाद्य कार्यक्रम के फोकस के क्षेत्र
खाद्य एवं पोषाहार सुरक्षा; भोजन आधारित सुरक्षा कवचों को सशक्त करना; खाद्य एवं पोषाहार सुरक्षा को बढ़ाने के लिए नीतिगत सुधार करना; भोजन की पौष्टिकता बढ़ाना; खाद्य सुरक्षा का मानचित्रण और विश्लेषण करना; जीवन के पहले एक हजार दिन के दौरान पोषाहार संबंधी समस्याओं को दूर करना; किशोरियों, गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराती माताओं तथा वृद्धजनों की पोषाहार आवश्यकताओं को पूरा करना.
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